Happy and not Disappointed trust
बीते कल में हार मिली है तो जरूरी नही कि आने वाला कल भी निराश ही करेगा। हारना बुरा नही है। यकीन मानिए कि आपकी ईमानदार कोशिश को गले लगाने वालों की कमी नही है।
हारना बुरा नही है। बिलकुल भी नही। ‘भला ऐसा कैसे हो सकता है! हारना हमारी कर्मियों की निशानी है, हार हमें दूसरों की नजरों में गिरा देती है, हार हमारा self-confidence कमजोर कर देती है, जिन्दगी में जो भी बुरा हो रहा है... सब इस एक हार की वजह से ही तो है।‘ जिन्दगी में कई ऐसे मौके आते है, जब हम खुद ये बातें कहते है। ऐसे में फिर यह बात याद दिलाने की जरूरत है कि हारना बुरा नही है।.. और क्या हुआ अगर आप हार गये है? कम से कम आपने कोशिश तो की। ये कोशिश ही आपकी सफलता है।
हार आपकी पहचान नही
हां, किसी असफलता के बाद तुरंत से खुद पर विश्वास करना थोड़ा मुश्किल है। याद रखें, हार आपको परिभाषित नही कर सकती। आपका अतीत इसकी वजह से नही था और आपका भविष्य इस हार पर टिका हुआ नही है। आप एक व्यक्ति है, न कोई हार। आप इस हार से कहीं ज्यादा अहम है। ऐसे में यह खुश होने वाली बात है कि आपने काम को टालने की बजाय उसे करने का option चुना है। अपने इस गुण को पहचानें। आप खुद पर विश्वास करें और अपनी गलतियों से सीखें। इससे आप self-confidence नही खोएंगे।
हार से ही है जीत की पहचान
किसने कहा है कि असफलता बुरी है? हां, हर कोई यही कहता है! हमें गलत के बारे में पहले सिखाया जाता है, उसके बाद सही चीजों के बारे में बताया जाता है। उसी तरह हमें पहले हारने के बारे में बताया जाता है, उसके बाद जीतने के बारे में बताया जाता है। जीत को रोशनी से जोड़ा जाता है और हार को अँधेरे से। पर ऐसा क्यों होता है? हमें यह समझने की जरूरत है कि हार कर ही असल जीत हासिल होती है। दोनों, एक-दूसरे के बगैर अधूरे है। अँधेरे रास्तों पर चले बिना हमें रोशनी की अहमियत नही महसूस होगी। यह बहुत जरूरी है कि जीत और हार, दोनों को एक ही तरह से लिया जाएँ।
हारना क्यों अच्छा है
सफलता की शुरुआत हार से होती है। यह जरुर है कि सफलता के लिए दूसरी चीजें भी मायने रखती है, जैसे सही समय, अवसर और अनुकूल परिस्थितियां। इसलिए असफलता बुरी नही है। हर success व्यक्ति जानता है कि हारना अच्छा है। पर कौन सी बातें है जो हारने को अच्छा बनाती है, यह समझना भी जरूरी है कि
Ø खाली बैठने और दूसरों से ईष्यॉ करने की बजाय आपने उस काम को किया।
Ø आपने साबित किया कि आपमें कई गुण है, जैसे साहस, दृढ निश्चय, धैर्य, इच्छाशक्ति, शुरुआत करने का साहस।
Ø आपने खुद को संवेदनशील बनाया है, जो बाद में आपको ताकतवर बनाएगी।
Ø किसी नतीजे पर पहुंचने से पहले आप हारे नही। अपने अंत तक टिके रहे।
Ø आपने हार की परवाह किये बगैर किसी काम को करने की पहल की। यह बहुत बड़ी बात है।
व्यर्थ की बातों को हार से मत जोड़िये
अपनी छोटी-बड़ी हर बात को हार से ना जोड़े। थका हुआ, हताश, दुखी, ठगा हुआ, दुविधा, आभार और कड़वाहट महसूस करना जैसी बेकार की बातों को अपनी इस हार से जोड़ना ठीक नही है। यह उस हार की गलती नही है कि आपने अपनी हताशाओं को उससे जोड़ दिया है। आप नियंत्रण न खोयें। आप इसलिए हार न मानें क्योंकि इस समय परिस्थितियाँ आपके पक्ष में नही है। आप अपने सपने पर यकीन रखें, बिना किसी वजह के, पागलपन की हद तक। फिर आपको उसे पूरा करने के लिए जो भी करना हो, आप करें। अगर आप वाकई अपनी गलतियों से सीख रहे है, निरंतर अपना विकास कर रहे है, हार के बाद भी अपने सपने को जोश के साथ पूरा करने में लगे है, जिसमें कोई कड़वाहट नही, कोई दुर्भावना नही है, तो एक दिन आप जरुर success होंगे। ध्यान रहे, हार और जीत दोनों जरूरी है दुनिया बदलने के लिए।
हार सफलता की गारंटी नही
आपको असफलता हाथ लगी है, इसका मतलब ये भी नही है कि आपका जीतना निश्चित हो गया। प्रतिबद्दता, लगन, जिद और निरंतर कोशिश के बिना सफलता की कोई गारंटी नही है। असफलता आपसे कोई वादा नही करती कि आप अगली बार success होगे ही। हार जीत की तरफ ले जाती है और जब-जब आप हारते है यह निश्चित है कि आप जीत के करीब आते है। आपकी जीत की वक्त इस बात पर निर्भर करता है कि आपने कितने जतन किये और गलती को दोहराए बिना आगे बढ़ते गये। जीत का स्वाद चखने से पहले हममें से कई लोगो को हारना पड़ता है। कुछ लोग जल्दी जीत को पा लेते है और बाकी लोग यह सोचते रह जाते है कि वे क्यों नही जीत पाए। अपनी तुलना बंद कीजिये। एक बात याद रखें कि क्या आप खुश होना चाहते है और जीत का आनन्द लेना चाहते है? अगर हां तो अपने रास्ते बनाएं, अपनी हार से सीखें, बुद्धिमानी से काम लें और मेहनत करें। और हां, सबसे जरूरी है खुद पर विश्वास करना।
# इस article के writer ‘फरनूश ब्राक’ जो ईरानी लेखिका है। जो business और career coach. प्रोलिफिक लिविंग की संस्थापिका। सफलता और विकास उनके प्रिय विषय है।
No comments:
Post a Comment